बिजली आपूर्ति में अभूतपूर्व सुधार, ग्रामीण क्षेत्रों को प्राथमिकता: राज्यपाल आनंदीबेन पटेल

लखनऊ। राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने प्रदेश में बिजली विभाग की ओर से किए गए कार्यों की सराहना की। उन्होंने कहा कि बिजली आपूर्ति में अभूतपूर्व सुधार लाया गया है। वर्तमान में जिला मुख्यालयों पर 24 घंटे, तहसील मुख्यालयों पर 21 घंटे 30 मिनट और गांवों में 18 घंटे आपूर्ति का रोस्टर निर्धारित है।

उसी के अनुसार आपूर्ति भी की जा रही है। ग्रामीण क्षेत्रों को प्राथमिकता देते हुए 121.32 लाख मजरों का विद्युतीकरण किया गया है। कुल 138.01 लाख बिजली कनेक्शन दिए गए हैं।

आज से शुरू हुए बजट सत्र में राज्यपाल ने अपने अभिभाषण में विधानसभा और विधान परिषद के संयुक्त सत्र को संबोधित किया। उन्होंने बिजली विभाग की ओर से किए गए कार्यों का सिलसिलेवार ब्योरा रखा। उन्होंने कहा कि मार्च 2017 से अब तक 110 ट्रांसमिशन उपकेंद्रों और उससे जुड़ी लाइनों का ऊर्जीकरण किया जा चुका है।

656 नए 33/11 केवी विद्युत उपकेन्द्र स्थापित किए गए हैं और 1216 बिजली उपकेन्द्रों की क्षमता बढ़ाई गई है। उन्होंने अपने अभिभाषण के जरिए बताया कि सरकार ने न सिर्फ बिजली का उत्पादन बढ़ाया है, बल्कि इंफ्रास्ट्रक्चर बढ़ाने के साथ नए कनेक्शन भी दिए हैं।

सौर ऊर्जा उत्पादन भी बढ़ा, सोलर स्ट्रीट लाइट के 62,460 संयन्त्रों की स्थापना

उन्होंने कहा कि सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए सौर ऊर्जा नीति-2017 लागू की गई है, जिसके तहत 1,272 मेगावाट क्षमता की सौर बिजली उत्पादन परियोजनाओं का आवंटन किया जा चुका है।

करीब 1,019 मेगावाट बिजली का उत्पादन किया जा रहा है। इसके अलावा 1470 मेगावाट सौर ऊर्जा के ओपेन एक्सैस के प्रस्ताव स्वीकृत किए जा चुके हैं। वैकल्पिक ऊर्जा प्रबन्धन के तहत विभिन्न क्षमता के सोलर प्लाण्ट स्थापित किए गए हैं।

पंडित दीन दयाल उपाध्याय सोलर स्ट्रीट लाइट योजना, समग्र ग्राम विकास योजना और प्रोजेक्टर बोर्ड के तहत चयनित बाज़ारों में सार्वजनिक मार्ग प्रकाश व्यवस्था के लिए कुल मिलाकर सोलर स्ट्रीट लाइट के 62,460 संयन्त्रों की स्थापना की गई है।

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